10 नवंबर से आरम्भ होगी मतदान प्रक्रिया
अखिल भारत हिन्दू महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए जारी प्रक्रिया स्वागत समिति के अध्यक्ष विक्रम दिवाकर सिंह द्वारा एक नवंबर को प्रत्याशियों की अंतिम सूची जारी करने के साथ ही अपने अंतिम चरण में पहुंच गई है । जारी सूची के अनुसार निवर्तमान राष्ट्रीय अध्यक्ष स्वामी त्रिदंडी जी महाराज और निवर्तमान राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष रविन्द्र कुमार द्विवेदी के मध्य राष्ट्रीय अध्यक्ष पद के लिए कड़ा संघर्ष देखने को मिलेगा । 8 नवंबर तक प्रदेश अध्यक्षों के पास दोनों प्रत्याशियों में से किसी एक प्रत्याशी के पक्ष में मतदान करने का मंथन करने का समय शेष है । 10 नवंबर से 20 नवंबर तक मतदान होगा । प्रदेश अध्यक्षों को अपना मत प्रदेश के लेटर हेड पर लिखकर स्वागत समिति के अध्यक्ष विक्रम दिवाकर सिंह के पास स्पीड पोस्ट डाक और उनके व्हाट्सअप पर भेजना होगा । प्रदेश अध्यक्ष की अनुमति अथवा अनुपस्थिति के आधार पर प्रदेश प्रभारी , संयोजक , महामंत्री और प्रदेश संगठन मंत्री भी अपने प्रदेश का मत स्वागत समिति को भेज सकते हैं ।
हिन्दू महासभा संविधान में प्रत्याशियों के नामांकन और मतदान का अधिकार केवल प्रदेश अध्यक्षों को दिया गया है । इस चुनाव का सबसे विचित्र पक्ष यह है कि 8 वर्ष से राष्ट्रीय अध्यक्ष पद का दायित्व संभाल रहे स्वामी त्रिदंडी जी महाराज पहले ही अध्यक्ष पद पर बने रहने पर अनिच्छा व्यक्त कर चुके थे । रविन्द्र कुमार द्विवेदी स्वप्न में भी चुनाव लड़ने की दौड़ में शामिल नही रहे । हिन्दू महासभा की संवैधानिक व्यवस्था ने न केवल दोनों को अध्यक्ष पद का प्रत्याशी बनवा दिया , वरन दोनों को एक दूसरे के मुकाबले में खड़ा कर दिया । दोनों ही प्रत्याशी संवैधानिक व्यवस्था को अंगीकार करते हुए संगठनात्मक ढांचे में स्वस्थ लोकतंत्र को बनाये रखने के लिए प्रदेश अध्यक्षों से संपर्क अभियान के माध्यम से अपने अपने पक्ष में मतदान की अपील करेंगे ।
सर्वसम्मत्ति से निर्विरोध निर्वाचन करवाने हेतु दोनों प्रत्याशियों में से किसी एक प्रत्याशी का नाम वापस लेने का उत्तरदायित्व निवर्तमान राष्ट्रीय महामंत्री एवं स्वागत समिति के कोषाध्यक्ष आचार्य विजय प्रकाश मानव को सौंपा गया था , जिसमे वो विफल रहे । उनकी विफलता ने ही मतदान की स्थिति उत्पन्न की है । 20 नवंबर तक प्रदेश अध्यक्षों से प्राप्त मतों की मतगणना 22 नवंबर को होगी । निर्वाचित राष्ट्रीय अध्यक्ष 22 दिसंबर को लखनऊ में आयोजित होने वाले 65 वें राष्ट्रीय अधिवेशन में अपनी नवीन कार्यकारिणी के साथ तीन वर्ष का कार्यकाल संभालेंगे ।